जब अभियोजन पक्ष मजबूत हो तो किसी भी हालात में आरोपी बच नहीं सकता,ये साबित किया वरिष्ठ अति.लोक अभियोजक मसूद अहमद ने जिन्होंने 6 वर्ष की मासूम से रेप करने वाले आरोपी हसनैन को कोर्ट से 20 साल की सजा कराई और 26 हजार का जुर्माना लगवाया।
(प्रदीप महाजन/LR) उत्तरी पूर्वी जिला थाना उस्मान पुर मे सन 2019 में आरोपी हसनैन ने महज 6 वर्ष की मासूम से वहशियाना रूप से बलात्कार किया जोकि समाज को कलंकित करने वाली घटना थी। पुलिस ने आरोपी हसनैन पर संबंधित धाराओं 342,363,375ab,6 पोक्सो एक्ट में FIR 383/19 दर्ज की और आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। अपराधी ने अपने आप को बचाने के लिए लम्बी चौड़ी वकीलों की फौज खड़ी कर दी लेकिन अभियोजन पक्ष की पुलिस जांच टीम ने जो गवाह और साक्ष्य इकठ्ठे किये थे उनको मजबूत आधार बनाते हुए अपनी जिरह और सशक्त दलीलों से वरिष्ठ अति.लोक अभियोजक मसूद अहमद ने आरोपी हसनैन को अदालत से 20 साल की कैद की सजा और 26 हजार का जुर्माना कोर्ट लगवाया। कड़कड़डूमा कोर्ट ने आदेश दिया कि सभी धाराओं में सजा साथ साथ चलेगी। उम्मीद की उड़ान संस्था(उप्र) के प्रदेश महासचिव व् सुप्रीम कोर्ट के वकील शशांक सिंह का कहना है कि अभियोजन पक्ष अगर मजबूती से खड़ा है तो अपराधियो को सजा होने से कोई नहीं बचा सकता है। कड़कड़डूमा कोर्ट अभियोजन विभाग में कार्यरत धर्मेंद्र शर्मा का कहना है कि पुलिस अगर ईमानदारी से सबूत इकठा करे और निष्पक्ष जांच करे तो अपराधी को 100 प्रतिशत सजा मिलती है।
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