रंगमच प्रेमियों को तिहरे नाटकों के माध्यम से 50 के दशक के महान कलाकारों के जीवन और उनके अधूरे प्यार, संगीत के लिए उनकी प्यास और असामयिक मौत से दर्शकों को रूबरू कराया जाएगा। इन ऐतिहासिक नाटकों का नई दिल्ली में फिक्की सभागार में 19 और 20 सितम्बर, 2015 को मंचन किया जाएगा।
सैफ
हैदर हसन की थियेटर प्रस्तुतियां गर्दिश में तारे और एक मुलाकात गुरुदत्त -
गीता दत्त और साहिर लुधियानवी - अमृता प्रीतम के जीवन और उनके प्यार पर
आधारित हैं। इन दोनों संगीतमय रोमांटिक थिएटर प्रस्तुतियों में शेखर सुमन -
दीप्ति नवल और आरिफ जकारिया - सोनाली कुलकर्णी मुख्य भूमिका में होंगे।
सैफ
हैदर हसन कहते हैं, \"ये दोनों प्रस्तुतियां काल्पनिक हैं, भारत के सबसे
मशहूर कलाकारों के जीवन, उनके अधूरे प्रेम और उनका इम्तिहान और सामाजिक
मापदंडों के अनुसार खुद को एडजस्ट करने की उनकी पीड़ा पर आधारित है। इन
प्रस्तुतियों में इस्तेमाल किये गये संगीत, कपड़े, सेट और यहां तक कि भाषा
आपको उस युग में ले जाएंगे जब भारत साहित्य, फिल्मों या संगीत के क्षेत्र
में सबसे अच्छा प्रदर्शन कर रहा था।
निर्माता
व निर्देशक सैफ हैदर हसन कि प्रस्तुति \'गर्दिश में तारें दो रचनात्मक
लोगों के जीवन और उनकी कृतियां पर आधारित रिश्ते पर आधारित एक नाटक है।
सुम्माना अहमद द्वारा लिखित कहानी फिल्मकार गुरुदत्त और उनकी गायिका पत्नी
गीता दत्त के जीवन से प्रेरित है। जो काल्पनिक चरित्रों देवदत्त बोस (आरिफ
जकारिया) और भावना (सोनाली कुलकर्णी) के माध्यम से, यह दर्षकों को उनकी
उथल-पुथल भरी शादीषुदा जिंदगी से रूबरू कराती है।
इस नाटक के फिक्की सभागार में 19 सितम्बर को शाम 5:30 बजे और 8.00 बजे दो शो होंगे।
\'एक
मुलाकात\' महान उर्दू कवि, साहिर लुधियानवी और समान रूप से प्रसिद्ध पंजाबी
लेखिका अमृता प्रीतम के रिश्ते की एक ईमानदार जांच- पड़ताल करती है। सैफ
हैदर हसन द्वारा निर्मित और निर्देशित यह नाटक साहित्यिक संदर्भ और नज्में
और साहिर लुधियानवी और अमृता प्रीतम के मूल कविता से ओत प्रोत है। शेखर
सुमन और दीप्ति नवल ने इन दोनों महान साहित्यकारों के जीवन पर आधारित दो
घंटे के नाटक में भूमिका निभायी है। यह नाटक जटिल मोड़ पर खत्म होता है।
इसमें
अमृता के घर में छत पर दिल्ली में एक ठंड सर्दियों की रात की पृष्ठभूमि
है। कोई उन्हें मुंबई से काॅल कर रहा है। वह आश्चर्यचकित हैं कि कौन उन्हें
काॅल कर सकता है क्योंकि वह वहां साहिर लुधियानवी को छोड़कर किसी को नहीं
जानती हैं। और फिर साहिर अचानक प्रकट होते हैं। वह पहले की तुलना में बहुत
अधिक बोल रहे हैं, अधिक घुल-मिल रहे हैं। इस प्रकार, दोनों कवियों और
प्रेमियों के बीच एक आत्मीय बातचीत होती है। साहिर और अमृता के बीच प्रेम,
जीवन और साहित्य के बारे में अनूठी बातचीत होती है। कॉल आते रहते हैं और
बातचीत के जरिये नाटक आगे बढता है। यह नाटक एक अनूठे रिश्ते और एकतरफा
प्यार को प्रदर्शित करती है। �एक मुलाकात� साहिर लुधियानवी और अमृता प्रीतम
की काव्य प्रतिभा को एक संगीतमय श्रद्धांजलि है। इसके फिक्की सभागार में
20 सितम्बर को षाम 5:30 बजे और 8.00 बजे दो शो होंगे।
सैफ हैदर हसन के बारे में:
सैफ
हैदर हसन इलाहाबाद में पैदा हुए और अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय से एमए
किया। यहां के माहौल ने उन्हें थिएटर के प्रति प्रोत्साहित किया क्योंकि
यहां छात्रों को रचनात्मक स्वतंत्रता दी जाती थी। उन्होंने एक प्रशिक्षु
काॅपी राइटर के रूप में अपना कैरियर शुरू किया और नई दिल्ली में पिएर्रोत
की ट्रुप में शामिल हो गए। मुंबई जाने से पहले, यहां उन्हें नाटककार,
अभिनेता, मंच की साज सज्जा और सहायक के रूप में कई कार्य सौंपे गये। मुंबई
में उनके द्वारा किया गया सबसे दिलचस्प कार्य एक नाटक में गुजलार की एक लघु
कहानी आध्धा को लेना था और इसके लिए उन्हें उनकी मंजूरी भी मिल गयी। एक
पूर्व पत्रकार ने इस पर नौ नाटक लिखे जिन्हें सार्वजनिक स्थानों पर मंचन
किया गया और इन्हें आलोचकों से काफी सराहना मिली।
उनकी
पुस्तक �वन यस्टर्डे�, जो कि संस्मरणों का एक संकलन थी, 2004 में रूपा एंड
कंपनी द्वारा प्रकाशित की गयी। 2007 में, सैफ रस्किन बॉन्ड की अध्यक्षता
में हुए सहपाठी युवा लेखक प्रतियोगिता 2006 की जूरी में षामिल थे। सैफ को
अपने रेडियो नाटक जीवन गुलमोहर स्टाइल लिखने के लिए बीबीसी वल्र्ड सर्विस
ट्रस्ट के द्वारा मंजूरी दी गयी। वे अपने पहले उपन्यास का इंतजार कर रहे
हैं जो जल्द आने वाली है।